भारत में चीन के सामान की बिक्री 25 तक प्रतिशत घटी

नई दिल्ली । चीन में फैले कोरोना वायरस का असर शहर के बाजारों पर भी दिखने लगा है। शहर के व्यापारियों ने चीन से मुंबई व दिल्ली में आने वाले सामान जैसे इलेक्ट्रिकल्स, क्रॉकरी सहित जूते व चप्पल आदि सामान खरीद कर शहर में बेचने से तौबा कर ली है। पिछले एक सप्ताह से चीनी वस्तुओं का पुराना स्टॉक ही बेच रहे हैं। नया सामान नहीं ले रहे। शहर के बाजारों में करीब 25 प्रतिशत तक चाइना के सामान की बिक्री में कमी आई है।इतना ही नहीं शहर के ऐसे व्यापारी जो चीन आना-जाना करते थे, वे चीन नहीं जा रहे हैं। इससे आगामी एक से दो महीने में चीन के सामान की 75 प्रतिशत बिक्री बंद हो सकती है। होली के दौरान मिलने वाली चीन की पिचकारियों सहित अन्य आयटम से परहेज करना शुरू कर दिया है।शहरवासी भी चीन की वस्तुओं को खरीदना पंसद नहीं कर रहे हैं। घोड़ा नक्कास व्यापारी ने बताया कि मुंबई व दिल्ली से चाइना की वस्तुओं को खरीद कर लाते थे। अब वहां सामान कम होने लगा है। फिलहाल बाजार में 10 से 15 प्रतिशत तक ही असर पड़ा है। आगामी दिनों में यह आंकड़ा बढ़ सकता है। अधिकांश व्यापारी मेड इन चाइना का सामान खरीद कर शहर में बेचने से बच रहे हैं। शादी-विवाह के दौरान मैरिज गार्डनों में लगाई जाने वाली अधिकांश एलईडी व अन्य डेकोरेशन लाइट चाइना से ही आती हैं। चीन से मुंबई व दिल्ली की मंडियों में इलेक्ट्रिकल्स की वस्तुएं व रॉ मटेरियल आता है।70 प्रतिशत बल्व, पंखे, कूलर की मोटरों सहित अन्य आयटम मुंबई व दिल्ली से लाते हैं। बाकी 30 प्रशित चेन्नई व अन्य शहरों से सामान आता है। कोरोना वायरस ने बड़े व्यावसायियों का चीन जाना बंद कर दिया है। मैं भी चीन नहीं जा रहा हूं। अब प्रयास रहेगा कि स्वदेशी वस्तुओं को ही बेंचें।चाइना की वस्तुओं का भारत में बड़ा बाजार है। चीन में कोरोना वायरस फैलने की वजह से मोबाइल, चार्जर से लेकर घड़ियों सहित मेड इन चाइना के आयटम व रॉ मटेरियल को खरीदना व्यापारी बंद कर देंगे। पुराने शहर के घोड़ा नक्कास, न्यू मार्केट, एमपी नगर सहित अन्य बाजारों में चाइना के कप, प्लेट सहित प्लास्टिक की वस्तुएं, इलेक्ट्रिकल्स आयटम मिलते हैं। शहर में पांच हजार से ज्यादा ऐसी दुकानें हैं जिन पर चाइना के आयटम मिल जाते हैं।

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