भाजपा विधायक बृजमोहन अग्रवाल कोरोना संक्रमित

दोपहर में EX CM – नेता प्रतिपक्ष के साथ साझा किया था मंच, 22 दिसम्बर को शिवराज के साथ थे
रायपुर।
छत्तीसगढ़ में कोरोना संक्रमण और ब्रिटेन से आए नये स्ट्रेन के खतरों के बीच विधायकों की लापरवाही जारी है। पूर्व कृषि मंत्री और भाजपा विधायक बृजमोहन अग्रवाल शुक्रवार की शाम कोरोना संक्रमित पाए गए। संक्रमण की सूचना से पहले बृजमोहन अग्रवाल रायपुर के आजाद चौक पर आयोजित भाजपा के सत्याग्रह में शामिल हुए।
सत्याग्रह कार्यक्रम में बृजमोहन अग्रवाल ने पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह, प्रदेश अध्यक्ष विष्णुदेव साय और विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक, रायपुर सांसद सुनील सोनी सहित भाजपा विधायकों-पदाधिकारियों के साथ मंच साझा किया। इस दौरान वे पार्टी कार्यकर्ताओं से भी मिले।
बताया जा रहा है गुरुवार को विधानसभा सत्र के दौरान दिक्कत महसूस होने पर उन्होंने वहीं एंटीजन टेस्ट कराया था। उसकी रिपोर्ट निगेटिव आई। बाद में उन्होंने RTPCR टेस्ट के लिए नमूने दिए। RTPCR टेस्ट की रिपोर्ट शुक्रवार शाम को मिली। इसकी जानकारी उन्होंने सोशल मीडिया में जारी कर संपर्क में आए लोगों से सावधान रहने को कहा।
इससे पहले भाजपा विधायक कई सार्वजनिक और निजी आयोजनों में शिरकत कर चुके थे। भाजपा के सत्याग्रह के अलावा अग्रवाल दूसरे नेताओं को लेकर एक भाजपा कार्यकर्ता के यहां जलपान करने भी गए थे।
भाजपा विधायक बृजमोहन अग्रवाल ने खुद को होम आइसोलेट कर लिया है। लेकिन उनके संपर्क में आए प्रदेश भाजपा के वरिष्ठ नेता और विधायक खुद को एकांतवाश दे पाते हैं या नहीं यह देखने वाली बात होगी। वह भी उस समय जब विधानसभा का शीतकालीन सत्र चल रहा है।
तीन दिन पहले की शिवराज सिंह की अगवानी
बीमार होने से पहले बृजमोहन अग्रवाल कई महत्वपूर्ण नेताओं से मिल चुके हैं। 22 दिसम्बर को उन्होंने मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की रायपुर हवाई अड्डे पर अगवानी की।
शिवराज सिंह के साथ एक ही हेलिकॉप्टर में वे दुर्ग गए जहां दोनों नेताओं ने दिवंगत नेता मोतीलाल वोरा के पार्थिव शरीर के दर्शन किए। वहां से दोनों साथ ही रायपुर लौटे। हवाई अड्डे के लाउंज में बैठकर चर्चा भी की।
पहले भी हुई है ऐसी लापरवाही
विधायकों में संक्रमण का पहला मामला जून महीने में सामने आया था। कांग्रेस विधायक दलेश्वर साहू ने लक्षण दिखने के बाद जांच कराई लेकिन घर पर नहीं रुके। वे सार्वजनिक कार्यक्रमों में शामिल होते रहे।
22 जून को भी जब उनके पॉजिटिव होने की जानकारी आई वे, विधानसभा में एक बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। इस लापरवाही की वजह से पांच दूसरे विधायकों और विधानसभा के अफसरों को होम आइसोलेट होना पड़ा। बाद में इस बैठक में शामिल रहे दो विधायक भी संक्रमित मिलेे।
पुनिया संक्रमित मिले तो रिपोर्ट ही नकार दिया
कांग्रेस के प्रदेश प्रभारी पीएल पुनिया अक्टूबर के दूसरे सप्ताह में रायपुर आए थे। लक्षण दिखने पर उन्होंने कोरोना टेस्ट कराया। शाम को रिपोर्ट पाॅजिटिव आई। इस बीच पुनिया मुख्यमंत्री भूपेश बघेल, विधानसभा अध्यक्ष डॉ. चरणदास महंत समेत सैकड़ों नेताओं-कार्यकर्ताओं और पत्रकारों से मिले। रिपोर्ट आने तक वे दिल्ली पहुंच चुके थे।
कांग्रेस नेताओं ने पहले तो उनके पॉजिटिव पाए जाने की बात को ही नकार दिया। बाद में पुनिया ने छत्तीसगढ़ की कोरोना जांच रिपोर्ट को नकारते हुए दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में जांच कराई। रिपोर्ट वहां भी पॉजिटिव ही आई।

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