बेटे से किये 2 घंटे सवाल-जवाब
नईदिल्ली। दिल्ली स्थित तबलीगी जमात के मरकज के संचालक मौलाना साद की गिरफ्तारी अभी तक नहीं हो पाई है। वहीं इसी बीच तबलीगी मरकज के मुखिया मौलाना साद पर क्राइम ब्रांच का शिकंजा लगातार कसता जा रहा है। क्राइम ब्रांच की टीम मरकज की सारी गतिविधियां और उसके बैंक खातों से हुए आर्थिक लेनदेन की गहराई से पड़ताल करने में जुटी है। इसी सिलसिले में मौलाना साद के बेटे को क्राइम ब्रांच के कार्यालय बुलाकर 2 घंटे तक सघन पूछताछ की गई। इस दौरान खासतौर से मरकज के उन 20 कर्मचारियों के बारे में पूछताछ की गई जो केस दर्ज होने के बाद से ही लगातार गायब हैं।
इनके बारे में पुलिस को उन ट्रैवेल एजेंट से पूछताछ के दौरान जानकारी मिली, जिन्होंने मरकज आने वाले विदेशी जमातियों के रहने-खाने से लेकर आने-जाने की व्यवस्था की जिम्मेदारी संभाल रखी थी। इन कर्मियों के मोबाइल फोन से लेकर ईमेल आईडी को भी सर्विलांस पर लगाकर महत्वपूर्ण जानकारी पुलिस ने हासिल की है।
वहीं मौलाना का बीच वाला बेटा मुख्यालय की गतिविधियों में ज्यादा सक्रिय है। लिहाजा, क्राइम ब्रांच ने उसे बुलाकर सघन पूछताछ की। पुलिस ने तबलीगी जमात मुख्यालय की गतिविधियों से जुड़े दस्तावेजों के बारे में भी जानकारी मांगी। मुख्यालय प्रबंधन से जुड़े छह पदाधिकारियों के साथ ज्यादा बैठक भी यही करता था। इसलिए इससे पूछताछ की गई। हालांकि इस मामले में क्राइम ब्रांच की जांच राडार पर मौलाना के सभी बेटे और भांजा हैं।
क्राइम ब्रांच ने कोरोना जांच जल्द कराने को कहा क्राइम ब्रांच ने मौलाना की कोरोना जांच कराने के निर्देश दिए। मौलाना के बेटे से पुलिस ने साफ कहा कि वह मौलाना की एम्स या मान्यता प्राप्त सरकारी लैब से कोरोना जांच कराए और क्राइम ब्रांच को रिपोर्ट सौंपे। हालांकि इसके पहले भी क्राइम ब्रांच ने टेस्ट कराने को कहा था।
ट्रस्ट मामले की भी बारीकी से जांच कर रही टीम जमात प्रमुख पर क्राइम ब्रांच और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) का शिकंजा कसता जा रहा है। जांच टीम के निशाने पर एक ट्रस्ट भी है, जिसकी भूमिका संदेह के घेरे में है। क्राइम ब्रांच सूत्रों की मानें तो इस ट्रस्ट को लेकर मौलाना साद समेत कुल 11 लोगों से पूछताछ करने की तैयारी है। जांच टीम को एक शख्स के बारे में जानकारी मिली है कि उसने पिछले दिनों कुछ रकम विदेश भेजी है। उससे पूछताछ कर जांच टीम अब यह पता लगाने का प्रयास कर रही है कि आखिरकार यह रकम किसकी थी, उसे किसने मुहैया कराई और यह रकम किसे भेजी गई। उधर 18 नंबरों की जांच के दौरान मौलाना साद और रिश्तेदारों का नेटवर्क को खंगाला जा रहा है।