लॉकडाउन में आंगनबाड़ी के बच्चों के बौद्धिक विकास में डिजिटल प्लेटफार्म बन रहा सहायक

अम्बिकापुर। कलेक्टर संजीव कुमार झा के मर्गदर्शन में महिला एवं बाल विकास अम्बिकापुर शहरी द्वारा कॉविड-19 संक्रमण से बचाव को दृष्टिगत रखते हुए डिजिटल प्लेटफार्म के माध्यम से ईसीसीई (अर्ली चाइल्डहुड केयर एण्ड एजुकेशन) के क्रियान्वयन हेतु आंगनबाडी के बच्चों के अभिभावकों को व्हाट्सएप्प के माध्यम से संदेश दिया जा रहा है। डिजिटल प्लेटफार्म में 6 कड़ी के रूप में बच्चों एवं अभिभावकों के लिए क्लिप तैयार किया गया है। सभी क्लिप बच्चों के विकास एवं उनके माता-पिता का बच्चे के प्रति जिम्मेदारी की भूमिका का एहसास कराएगा।
पहली कड़ी में बचपन की सुखद घटनाओं के याद कर बच्चों के साथ अपने शब्दों में कहानी सुनाना। दूसरी कड़ी ‘‘बच्चों में बैचेनी’’ में कोरोना के इस कठिन समय से विजय पाने के लिए अपना व नन्हे मुन्नों का ध्यान रखने हेतु परिस्थिति अनुसार अभिभावकों के चिंतित होने से बच्चों की तरफ से ध्यान हटने से बचाने के तरीके बताए गए हैं। तीसरी कडी ‘‘अनचाहा व्यवहार’’ में बच्चों का चिडचिडा होना एवं किसी चीज की प्राप्ति हेतु अनचाहा माध्यम अपने के तरीके के प्रति सजग करता है। इस कड़ी में बच्चों के घरेलु काम में मदद, बच्चों को स्नेह देना प्रशंसा करना शामिल है। चौथी कडी ‘‘गुडिया का समय’’ के माध्यम से अभिभावकों को बच्चों के अकेलेपन को दूर करने हेतु समय बिताने के लिए स्थानीय चीजो के माध्यम से गिनती, अभिनय कराया जाता है। पंचवी कडी ‘‘पुर्नविचार’’ क्लिप के माध्यम से जीवन के अच्छे अनुभव सुनाकर बच्चों में विश्वास जगाने, अनचाहे व्यवहार में परिर्वतन लाना, माता-पिता दोनों को मिलकर बच्चे की सम्पूर्ण जिम्मेदारी उठाना जैसी महत्वपूर्ण बातों का समावेश किया गया है। छठवीं कड़ी ‘‘पौधा, पानी और धूप’’ में जिस प्रकार पौधों को बड़ा होने में पानी और धूप की पर्याप्त मात्रा की आवश्यकता होती है उसी प्रकार माता-पिता दोनो जिम्मेदारी निभाते हुए बच्चों को प्रेम एवं विश्वास की मजबूती देते हुए कल्पना शक्ति के माध्यम से बच्चों की उत्सुकता एवं बच्चों के विकास के संतुलन हेतु क्लिप दिखाया गया।

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