भोपाल, 11 अक्टूबर (भाषा) मध्यप्रदेश के वन मंत्री उमंग सिंघार ने शुक्रवार को कहा कि 2017 में प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के शासनकाल में नर्मदा नदी के किनारे छह करोड़ से अधिक पौधे लगाने में हुई कथित तौर पर धांधली की जांच आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्लू) को सौंप दी गई है। सिंघार ने यहां संवाददाताओं को बताया कि दो जुलाई 2017 को नर्मदा किनारे छह करोड़ से अधिक पौधे लगाने में घोर अनियमितताएं तत्कालीन सरकार और अधिकारियों द्वारा की गई थीं। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री कमलनाथ के निर्देश पर हमने इसकी जांच ईओडब्ल्यू को सौंप दी है। सिंघार ने बताया कि इस मामले में मध्यप्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, प्रदेश के तत्कालीन वन मंत्री गौरी शंकर शेजवार और तत्कालीन अधिकारियों की भूमिका की जांच की जाएगी और जो भी दोषी पाया जाएगा, उन्हें बख्शा नहीं जाएगा। सिंघार ने बताया कि मैंने खुद बैतूल में जांच की। वहां पौधे रोपने के लिए 15,000 गड्ढे होने थे, लेकिन सिर्फ 9,000 के आसपास ही गड्ढे मिले। इस तरह का कागजी पौधरोपण आनन- फानन में तत्कालीन शिवराज सरकार ने कराया जबकि व्यवहारिक रूप से एक दिन के अंदर इतनी बड़ी संख्या में पौधे लगाना संभव नहीं है।
Source: Madhyapradesh