रायपुर। छत्तीसगढ़ में महिला समूहों द्वारा तैयार किए जा रहे खट्टी-मीठी इमली कैंडी का स्वाद न केवल प्रदेशवासी ले सकेंगे बल्कि पड़ोसी राज्य के निवासी भी उठा सकेंगे। राज्य शासन द्वारा ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती देने के लिए कई कदम उठाए जा रहे है। इसके तहत महिला समूहों को वनोपज की प्रोसेसिंग कार्य से जोड़ा जा रहा है। इन समूहों द्वारा वनों में पैदा होने वाली इमली का वैल्यू एडीशन कर खट्टी-मीठी इमली कैंडी तैयार की जा रही है।
राज्य में संचालित नवा बिहान कार्यक्रम के अंतर्गत नारायणपुर जिले में महिला समूहों को इमली कैंडी बनाने के लिए आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई गई है। इन समूहों द्वारा तैयार की गई इमली कैंडी ‘अबूझमाड़ बिहान मार्ट’ में बिक्री के लिए जल्द उपलब्ध कराई जाएगी। जिला प्रशासन की पहल पर इमली कैंडी बनाने के लिए अन्य महिला स्व-सहायता समूहों को प्रशिक्षण सहित विभिन्न सुविधाएं दी जा रही है। ब्रेहबेड़ा ग्राम की मां गायत्री समूह द्वारा इमली कैंडी बनाने का काम शुरू किया गया है। इसके अलावा समूह द्वारा चावल और बेसन के लड्डू भी तैयार किए जा रहे हैं।