नई दिल्ली । देश को एक नई दिशा और दशा देने वाले सरदार वल्लभभाई पटेल की आज पुण्यतिथि है। किसी काम को करने की दृढ़ इच्छा शक्ति की वजह से ही उनको लौहपुरुष के नाम से भी पुकारा जाता था। आजादी के बाद बंटवारे के समय भारतीय रियासतों के विलय से स्वतंत्र भारत को नए रूप में गढ़ने वाले पटेल भारत के सरदार के रूप में जाने जाते हैं।वह अपने अदम्य साहस व प्रखर व्यक्तित्व के कारण ही भारत को एक धागे में पिरोने में कामयाब हो सके। उनका जन्म 15 अगस्त 1947 को हुआ था। उनकी मृत्यु 15 दिसंबर 1950 को हुई थी। उनकी मृत्यु के दिन पर आइए जानते है कि किस तरह से सरदार वल्लभभाई पटेल ने देश को एक सूत्र में बांधने और देश को एक करने के लिए काम किया था।किसान परिवार में जन्मे पटेल ने लंदन जाकर बैरिस्टर की पढ़ाई की, लेकिन मन मस्तिष्क पर महात्मा गांधी के विचारों का ऐसा असर हुआ कि स्वतंत्रता आंदोलन के लिए अपने को समर्पित कर दिया। देश की एकता और अखंडता को अक्षुण्ण बनाने और उसे एक सूत्र में पिरोने में उनके योगदान के लिए 2014 से हर साल उनके जन्मदिन को राष्ट्रीय एकता दिवस के रूप में मनाया जाता है।