श्रीनगर। प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के तीन स्थानीय हाइब्रिड आतंकवादियों को जम्मू-कश्मीर पुलिस ने गिरफ्तार किया है। उनके पास से हथियार और गोला-बारूद भी बरामद हुआ है। ये तीनों आतंकी अप्रैल में बारामूला जिले में हुई एक सरपंच की हत्या में शामिल थे। तीनों आतंकियों की गिरफ्तारी बारामूला में हुई ही।
बारामूला के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक रईस मोहम्मद बट ने बताया कि आतंकियों ने 15 अप्रैल को पत्तन कस्बे के वुस्सन इलाके में गौसबाग के सरपंच मंजूर अहमद बंगरू की गोली मारकर हत्या कर दी थी। उन्होंने बताया कि इस हमले के बाद सुरक्षा बलों ने इलाके में तलाशी अभियान चलाया था और एक मुकदमा भी दर्ज किया गया था।
6-7 महीने से कर रहे थे साजिश
बट ने कहा कि तकनीकी निगरानी और विभिन्न खुफिया सूचनाओं के आधार पर गहन जांच के बाद साजिश का खुलासा हो सका। उन्होंने कहा कि तीन हाइब्रिड आतंकवादियों को गिरफ्तार किया गया है, जो करीब छह-सात महीने से साजिश रच रहे थे।
हाइवे पर ग्रेनेड हमले में था शामिल
पुलिस अधिकारी ने कहा कि मौजूदा मामले का संबंध पलहल्लन राजमार्ग पर पिछले साल हुए ग्रेनेड हमले से भी है। इस मामले का मुख्य साजिशकर्ता बारथीपोरा का अफजल था। मौजूदा मामले में भी अफजल की संलिप्तता सामने आई है।
चाइना मेड पिस्तौलें बरामद
बट ने कहा कि गिरफ्तार किए गए आतंकवादियों ने भी अफजल से गोला-बारूद प्राप्त किया था। उन्होंने बताया कि गिरफ्तार आतंकियों की पहचान नूर मोहम्मद यातू, मोहम्मद रफीक पर्रे और मोहम्मद अकबर पर्रे के रूप में हुई है जो पत्तन स्थित गौसबाग के निवासी हैं। तीनो के पास से तीन चीनी पिस्तौल, तीन मैगजीन, दो हथगोले और 32 कारतूस बरामद हुए हैं।
क्या होते हैं हाइब्रिड आतंकी
हाइब्रिड आतंकवादी दरअसल आतंकवादियों के रूप में अधिसूचित नहीं होते, लेकिन आतंकी मंसूबों के प्रति सहानुभूति रखते हैं और वे अपने आकाओं द्वारा दिए गए काम के अनुसार लक्षित हमले करने के लिए पर्याप्त रूप से प्रशिक्षित होते हैं। आतंकवादी वारदात को अंजाम देने के बाद वे सामान्य जीवन जीने लगते हैं और अगला काम मिलने का इंतजार करते हैं।