प्रदेश में ड्राइवरों की हड़ताल,दूध से किराना तक सप्लाई प्रभावित

भोपाल /इंदौर

मध्यप्रदेश में दूसरे दिन मंगलवार को ट्रक-बस ड्राइवर्स की हड़ताल का असर जरूरी सेवाओं पर दिख रहा है। भोपाल, इंदौर, जबलपुर और ग्वालियर सहित अन्य जिलों में दूध से लेकर सब्जी और किराना सप्लाई कम हुई। स्कूल-कॉलेज बसें बंद रहने से स्टूडेंट्स और पेरेंट्स परेशान हुए। कई स्कूलों में छुट्‌टी घोषित कर दी गई। कुछ स्कूलों में ऑनलाइन क्लासेस लगी हैं। यात्री बसें बंद होने से लोग परेशान हो रहे हैं। उमरिया में प्रशासन ने वाहन चालकों को पेट्रोल-डीजल देने की लिमिट तय कर दी है। इंदौर से पुलिस के पहरे में पेट्रोल-डीजल खंडवा भेजा जा रहा है। कई जगह सब्जी और अनाज मंडियां बंद हैं।

नए साल के पहले दिन बस स्टैंड से कोई भी यात्री बस रवाना नहीं हुई, टैक्सियां भी स्टैंड पर ही खड़ी रहने से यात्री भारी परेशान हुए।

यात्रा संसाधनों के अभाव में शहर में दौड़ने वाले आटो विकल्प बनते दिखे, आसपास के गांवों सहित राजस्थान के सवाई माधोपुर तक लोग आटो से जाते देखे गए। शाम को कलेक्टर संजय कुमार और एसपी डा. रायसिंह नरवरिया ने ड्राइवरों की बैठक लेकर कहा कि जो ड्राइवर अपने बस, टेक्सी, आटो चलाना चाहता है तो उनको जबरन रोकने पर कार्रवाई की जाएगी।

बस-ट्रक चालकों द्वारा क्षेत्र के प्रमुख मार्गों पर रास्ता जाम करने से कई किलोमीटर तक वाहन फंस गए। इधर, क्रिसमस और न्यू ईयर की छुट्टी के बाद मंगलवार से स्कूल खुलने वाले थे, लेकिन ड्राइवरों की हड़ताल से अभिभावक चिंतित रहे।

बस और टैक्‍सी रहीं बंंद

भारत सरकार द्वारा दुर्घटनाओं को रोकने के उद्देश्य बनाए गए नए कानून के विरोध में देश भर में ड्राइवर द्वारा हड़ताल की जा रही है। श्याेपुर में सोमवार को ना तो ड्राइवर बसों को चलाने पहुंचे और ना ही गाड़ी मालिकों की ओर से टिकट काटने जैसी कोई कार्रवाई की गई। बस और टैक्सी दिनभर स्टैंड खड़ी रही।

हड़ताल पर चल रहे ड्राइवर ने अब धरना भी शुरू कर दिया है। एकीकृत बस स्टैंड के भीतर ही टेंट लगाकर ड्राइवर धरने पर बैठ गए हैं। धरने पर बैठे ड्राइवरो ने बताया कि धरना सरकार के मनमाने कानून के खिलाफ होने के साथ-साथ कोई वाहन सड़क पर ना चले इस उद्देश्य से भी दिया जा रहा है। धरना 24 घंटे जारी रहेगा रात में भी धरने पर एक दर्जन से अधिक ड्राइवर बैठे रहे और इस बात की निगरानी करते रहे की कोई यात्री वाहन का संचालन ना हो।

 बाजारों में चिंता

हड़ताल से प्रदेश की आर्थिक राजधानी इंदौर में प्रदेश के सबसे बड़े थोक बाजारों में चिंता पसर गई है। सुबह से ही प्रमुख बाजारों से लेकर मंडियों तक में हड़ताल का असर नजर आने लगा। रविवार रात से ही चोइथराम मंडी में माल लेकर आने वाले ट्रकों की संख्या में कमी आ गई। इससे बाहर से आने वाली सब्जियों के साथ ही प्रदेश के अन्य शहरों के साथ ही अन्य राज्यों में भेजे जाने वाली सामग्री की सप्लाई चेन भी गड़बड़ा जाएगी। दोपहर होते-होते सियागंज और अन्य बाजारों में भी चिंता बढ़ने लगी है।

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *