कचरा प्रबंधन में पूरे प्रदेश मे बाजी मारकर दुर्ग निगम बना अव्वल

भारतीय उद्योग परिसंघ सीआईआई इसके लिए 16 को देगा एक्सीलेंस अवार्ड
दुर्ग।
नगर पालिक निगम दुर्गं कचरा प्रबंधन में एक बार फिर कामयाबी हासिल की है। विधायक अरुण वोरा, महापौर धीरज बाकलीवाल और निगमायुक्त हरेश मंडावी द्वारा लगातार सुबह से ही शहर की स्वच्छता को लेकर अधिकारियों एवं कर्मचारियों के साथ भ्रमण करते है और जहां पर खामी पाई जाती है वहां तत्काल समस्या का निराकरण करवाते है । इसी के फल स्वरूप 16 नवम्बर को विडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये 3 आर अवार्ड से नवाजा जायेगा। कचरे के बेहतर प्रबंधन के लिए निगम को सीआईआई के द्वारा (रीसायकल, रिड्यूस और रियूस) अवार्ड से पुरुस्कृत किया जाएगा। पूरे प्रदेश में दुर्ग निगम अव्वल आया है। 16 नवम्बर को दोपहर 12 बजे वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये ये अवार्ड दुर्ग निगम को दिया जाएगा। रैंकिंग से पहले गुप्त रूप से नगर निगम दुर्ग के कचरा प्रबंधन की स्थिति की जांच की गई थी। उसके बाद से ही निगम दुर्ग को प्रथम स्थान दिया गया।
नगर पालिक निगम दुर्ग तीन आर रिसाइकिल, रिडयुस रियूज के सिद्धांत के तहत अच्छा वेस्ट मैनेजमेंट बेहतर कार्य कर रहा है। शहर क्षेत्रो के हर घरों से गीला-सूखा कचरा प्रतिदिन अलग-अलग लिया जाता है। औसतन 80 टन से अधिक कचरा प्रतिदिन उत्पादित होता है। जिसमे 48 टन गीला एवं 32 टन सूखा कचरा होता है,कचरे के निष्पादन का कार्य 10 एस.एल.आर.एम. सेंटर में शहर के सभी वार्डो से आने वाले कचरो को 30 ऑटो टिप्पर, 42 ई रिक्शा, 181 मैनुअल रिक्शा, एवं 7 हाइवा का उपयोग होता है, इस कार्य में 1400 स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी लगे हुए है। विधायक अरुण वोरा एवं महापौर धीरज बाकलीवाल,निगमायुक्त हरेश हरेश मंडावी के अथक प्रयासो से शहर के सफाई व्यवस्था को दुरूस्त करने में शहर की जनता, नागरिको एवं कर्मचारियों के साथ कढी मेहनत करनी पड़ी है तब जा कर कचरा प्रबंधन में नगर निगम को अव्वल स्थान प्राप्त हुआ है ।
पांच टन गीले कचरे की कम्पोस्टिंग
प्रतिदिन 5 टन गीले कचरो को कई घरों एवं शहर के बड़े होटलों में स्वयं के द्वारा कम्पोस्टिंग का कार्य किया जाता है । दुर्ग शहर में तीन टाईम में शहर के सभी व्यावसायिक प्रतिष्ठानों, होटलो एवं मांगलिक प्रांगणो एवं सब्जी मंडियो से कचरा लिया जाता है एवं उसे सेग्रीगेषन का कार्य किया जाता है । नगर निगम दुर्ग द्वारा लगातार प्रतिबंधित प्लास्टिक एवं कैरी से शहर के नागरिको को दूर रहने हेतु अपील की जाती रही है एवं जुर्माना की कार्यवाही भी की जाती रही है जिससे वर्तमान में प्रतिबंधित प्लास्टिक कैरी बैग एवं अन्य प्लास्टिक से निर्मित वस्तुओ के उपयोग कमी आई है। यह रिदुयुज का एक प्रकिया है, 43 टन गीले कचरे को निगम द्वारा एकत्रित कर प्रतिदिन खाद बनाया जा रहा,जिससे औसतन प्रतिमाह 180 टन खाद का निर्माण किया जाता है एवं प्रतिमाह 2 लाख से अधिक का खाद बेचा जा रहा है एवं सुखा कचरा कबाड़ से निगम को 3 लाख का मुनाफा हो रहा है। रीसायकल प्रक्रिया में सुखा और गीला कचरा अलग अलग एकत्रित किया जाता है,प्रतिदिन सूखे कचरे की मात्रा 32 टन के करीब निकलता है,जिसमे पत्ता ,खड़ा,पेपर,बॉटल,प्लास्टिक,दवाई के पत्ते, बिजली के तार एवं अन्य समान होता है,इससे बेचकर प्रतिमाह 3 लाख से अधिक की आमदनी होती है।

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